जापान में भूकंप (Earthquake) के जोरदार झटके महसूस किए गए हैं. रिक्टर स्केल पर 7.3 तीव्रता मापी गई. इतनी तेज तीव्रता वाले भूकंप के बाद पूर्वोत्तर तट के कुछ हिस्सों के लिए सुनामी ( tsunami) की सलाह दी गई.अब तक मिली जानकारी के मुताबिक भूकंप फुकुशिमा क्षेत्र के तट पर 60 किलोमीटर की गहराई पर केंद्रित था और स्थानीय समयानुसार रात 11:36 बजे इसके तुरंत बाद पूर्वोत्तर तट के कुछ हिस्सों के लिए एक मीटर की सुनामी लहरों के लिए चेतावनी जारी की गई है.
अब तक मिली जानकारी के मुताबिक भूकंप फुकुशिमा क्षेत्र के तट पर 60 किलोमीटर की गहराई पर केंद्रित था और स्थानीय समयानुसार रात 11:36 बजे इसके तुरंत बाद पूर्वोत्तर तट के कुछ हिस्सों के लिए एक मीटर की सुनामी लहरों के लिए चेतावनी जारी की गई है.भूकंप के कारण परमाणु आपदा भी आई थी. भूकंप से जानमाल को हुए नुकसान के बारे में कोई सूचना नहीं मिली है.
इससे पहले 22 जनवरी को जापान के दक्षिणपश्चिमी और पश्चिमी क्षेत्र में आए भीषण भूकंप के कारण 10 से ज्यादा लोग घायल हो गए थे. भूकंप शनिवार को दोपहर 1 बजकर 08 मिनट पर आया था. ये जानकारी रूस की वेबसाइट स्पूतनिक ने स्थानीय मीडिया के हवाले से दी थी. जापान मौसम विज्ञान एजेंसी (Japan Meteorological Agency) के अनुसार, भूकंप क्यूशू द्वीप के पास एक बजे के बाद आया, जिसका केंद्र 40 किलोमीटर (24.8 मील) की गहराई पर स्थित था. सुनामी की कोई चेतावनी जारी नहीं की गई है.जापान की क्योदो समाचार एजेंसी के अनुसार, मियाजाकी, ओइता, कोच्चि और कुमामोटो के प्रांतों ने भूकंप को पांच पॉइंट का बताया था.
बता दें जापान में भूकंप के खतरे को मापने के लिए 7 पॉइंट का इस्तेमाल किया जाता है.बता दें पृथ्वी के अंदर 7 प्लेट्स हैं, जो लगातार घूमती रहती हैं. जहां ये प्लेट्स ज्यादा टकराती हैं, वह जोन फॉल्ट लाइन कहलाता है. बार-बार टकराने से प्लेट्स के कोने मुड़ते हैं. जब ज्यादा दबाव बनता है तो प्लेट्स टूटने लगती हैं. नीचे की ऊर्जा बाहर आने का रास्ता खोजती हैं और डिस्टर्बेंस के बाद भूकंप आता है.
INPUT: Tv9
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