रिश्वत लेने के मामले आपने खूब देखे और सुने होंगे, लेकिन ऐसा कम सुना होगा। सारण जिले के एक दारोगा को गुरुवार को निगरानी ब्यूरो की टीम ने रंगे हाथों पकड़ा तो उनका चेहरा शर्म से फीका पड़ गया। दारोगाजी रिश्वत में रुपए नहीं, बल्कि कुछ और मांग रहे थे। इसके बदले उन्होंने एक केस के आरोपित को गिरफ्तार करने का वादा किया था। दरअसल, वे रिश्वत के लिए ही आरोपित को गिरफ्तार करने में कोई रुचि नहीं ले रहे थे। जब पीड़ित को लगा कि दारोगाजी ऐसे नहीं मानेंगे, तो उसने निगरानी से शिकायत कर दी।
सत्यापन में सही पाई गई थी शिकायत
प्राप्त जानकारी के मुताबिक मढ़ौरा थाना क्षेत्र के बिशनपुर जगदीश गांव निवासी अखिलेश सिंह के पुत्र विवेक कुमार सिंह ने 20 जून 2022 को मढ़ौरा थाना में कार्यरत दरोगा प्रभाकर भारती के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी। सत्यापन में बात सही पायी गई। इसके बाद विजिलेंस के डीएसपी सुरेंद्र कुमार मौआर के नेतृत्व में टीम ने गुरुवार को मढ़ौरा में छापेमारी की और दरोगा प्रभाकर भारती को गिरफ्तार कर लिया।
गाड़ी का एसी ठीक कराना चाहते थे दारोगाजी
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पीड़ित ने निगरानी को बताया था कि मढ़ौरा थाना कांड संख्या 380/ 22 में आरोपितों की गिरफ्तारी करने के लिए रिश्वत के रूप में दरोगा द्वारा एक्सयूवी 500 गाड़ी का कंप्रेसर, कंडेनसर एवं कूलिंग क्वायल की मांग की जा रही है। निगरानी द्वारा इस मामले का सत्यापन किया गया। उन्हें रिश्वत के रूप में एक्सयूवी 500 कार का सामान लेते रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया।विजिलेंस की टीम ने बताया कि कार के सामान की कीमत 26751 रुपये है। डीएसपी ने बताया कि आरोपित से पूछताछ के बाद मुजफ्फरपुर निगरानी कोर्ट में उपस्थित कराया जाएगा। मढ़ौरा थाने में कार्यरत दरोगा प्रभाकर भारती को पटना से पहुंची विजिलेंस की टीम ने गुरुवार को कार का सामान घूस लेते रंगे हाथों पकड़ लिया। गिरफ्तार करने के बाद विजिलेंस की टीम उन्हें अपने साथ लेती गई।