बिहार में अग्निपथ योजना का भारी विरोध हुआ। छात्रों ने सड़क से लेकर रेलवे के पटरियों तक जमकर उत्पात मचाया। रेलवे के चक्के जहां के तहां रुक गए और भारी हंगामा के मद्देनजर लंबी दूरी तय करने वाली लगभग 40 चैनलों को रेलवे ने रद्द कर दिया था। लगभग 75 सवारी ट्रेनों के संचालन पर रोक लगा दी गई थी। इस दौरान ट्रेन के रद्द होने से सफर करने वाले यात्रियों की सबसे बड़ी समस्या टिकट को लेकर हो गई। माहौल जब शांत हुआ तो उन्हें कंफर्म टिकट लेने में पसीने छूट रहे हैं। ट्रेनों में अतिरिक्त कोच लगाए जाने के बावजूद भी ट्रेन यात्रियों से खचाखच भरा है।
सुधीर कुमार जो पटना से है दिल्ली जाने वाले यात्री हैं वह कहते हैं कि आंदोलन के तीसरे दिन का कंफर्म टिकट दिल्ली जाने वाली ट्रेन में था, ट्रेन रद्द हुआ जिसके बाद दोबारा टिकट लेने में उन्हें पसीने छूट गए। जंक्शन के टिकट काउंटर एवं रेलवे एजेंट के चक्कर लगाते थक गए बावजूद टिकट भी नहीं मिल पाया। बेटी का एग्जाम था जिस वजह से दिल्ली जाना जरूरी था। लिहाजा दोगुनी कीमत पर विमान का टिकट लेकर दिल्ली के लिए निकलें।
पटना के रामवीर सिंह बताते हैं कि आने वाले एक हफ्ते तक पटना से दिल्ली के लिए चलने वाली कोई भी ट्रेन में वेटिंग टिकट तक नहीं मिल पा रहा है। इसके बाद से उन्होंने अपनी यात्रा फिलहाल स्थगित कर दी है। बता दें कि पटना से कोलकाता, पुणे, मुंबई और दिल्ली जाने वाली सभी ट्रेनों में इस महीने के आखिर तक सीट फुल है। पटना से दिल्ली के लिए चलने वाली महानंदा एक्सप्रेस, राजधानी एक्सप्रेस, विक्रमशिला एक्सप्रेस और संपूर्ण क्रांति एक्सप्रेस में 31 जून तक सारी सीटें भरी हुई हैं। जबकि पटना से मुंबई, पुणे और कोलकाता के लिए चलने वाली सभी ट्रेनों की टिकट फुल है।
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पूर्व मध्य रेल के मुख्य जनसंपर्क अफसर वीरेंद्र कुमार मैं जानकारी देते हुए कहा कि ट्रेन की बोगियों की कमी पहले से ही है। फिर अग्निपथ स्कीम के विरोध में आंदोलन के वजह से ट्रेन रद्द हुई जिससे यात्रियों को राहत देते हुए कई ट्रेनों में एक्स्ट्रा डिब्बा जोड़ा गया है। ट्रेन से सफर करने वाले यात्रियों को ज्यादा से ज्यादा सीट उपलब्ध हो इस पर रेलवे गंभीरता से काम कर रहा है। ट्रेन के बोगियों की व्यवस्था होते ही ट्रेनों में लगा दिया जाएगा।